श्री सति सावित्री आरती हिंदी में
Shri Sati Mata Ki Aarti In Hindi
श्री सति सावित्री आरती : राजस्थान के सीकर जिले के गाँव कोटड़ी लुहारवास में मैढ क्षत्रिय स्वर्णकार समाज की माँ सति सावित्री का विशाल मंदिर हैं ! जहाँ साल में दो बार चैत्र बदी तेरस व भादवे महीने की अमावस्या को विशाल मेले का आयोजन होता है ! माँ सावित्री का जन्म नीमकाथाना नामक तहसील में हुआ था !
-: अन्य आरती संग्रह :-
श्री ब्रह्माणी माता की आरती
जीण माता जी आरती
करणी माता की आरती
राणी सती दादी की आरती
श्री ब्रह्माणी की आरती (पल्लू धाम)
********************
श्री सति सावित्री आरती
ॐ जय सति सावित्री माता,
मैया जय सति सावित्री माता I
भव तारण दुःख हारण,
रिधि सिद्धि की दाता II
ॐ जय सति सावित्री माता (१)
नीमकाथाना स्वर्णकार कुल,
तु प्रकटी माता I
कोटड़ीवासी मक्खन,
वरण तुम्हे ल्याता II
ॐ जय सति सावित्री माता (२)
की भक्ति शंकर की दोनों,
सत चित से ध्याता I
सत देखन को शिव जी,
भक्त को डसवाता II
ॐ जय सति सावित्री माता (३)
दो सुत सुता तीन मात के,
उमर इकतीस,
पति संग बैठ चिता पर,
सुमर्यो जगदीश II
ॐ जय सति सावित्री माता (४)
रूका सूरज गिरी अग्नि किरण तो,
छाई सकलाई I
धधक उठी जद ज्वाला,
हरे काठ माहीं II
ॐ जय सति सावित्री माता (५)
भरी-दुपहरी तेरस का दिन,
चैत बदी दीता I
हुई सती सावित्री,
संवत् उनतीसा II
ॐ जय सति सावित्री माता (६)
ब्रह्मा, विष्णु, महेश शेष सब,
पुष्पन बरसावे I
करें आरती दुर्गा,
देव ध्वनि गावे II
ॐ जय सति सावित्री माता (७)
दोनू कुल ने त्यार मात तू,
सतयुग दरशायो I
देश-धर्म कियो उज्जवल,
जगती यश गायो II
ॐ जय सति सावित्री माता (८)
बण्यो देवरो अजब अनोखो,
नौबत धर्रावे I
अटल ज्योत थारी जगमग,
ध्वजा यूं फहरावे II
ॐ जय सति सावित्री माता (९)
बुद्ध सुगन्ध चरण को चेरो,
सन्तु सिर नाता I
संकट काटो सबका,
जय जय सती माता II
ॐ जय सति सावित्री माता (१०)
या आरती सती माता की,
जो कोई नर गाता I
कहे ”सुभाष” मैयाजी की,
कृपा दृष्टि पाता II
ॐ जय सति सावित्री माता (११)
II इति श्री सति सावित्री माता की आरती सम्पूर्ण II
Related